छत्तीसगढ़ के मनेंद्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर जिले में कड़ाके की ठंड के कारण स्कूलों के समय में बदलाव किया गया है। शिक्षा विभाग ने यह निर्णय लिया है कि ठंड के चलते बच्चों को हो रही परेशानियों को ध्यान में रखते हुए स्कूलों के समय School Timing में संशोधन किया जाए। नए समय के अनुसार, जिले के सभी सरकारी, अशासकीय और अनुदान प्राप्त स्कूलों में कक्षाएं सुबह 9 बजे के बजाय देर से शुरू होंगी। यह बदलाव 27 नवम्बर से लागू हो चुका है और 31 जनवरी 2025 तक प्रभावी रहेगा।
School Timing Change: ठंड का असर और समय में बदलाव
छत्तीसगढ़ के पहाड़ी इलाकों में कड़ाके की ठंड ने बच्चों की सेहत और उनकी स्कूल जाने की आदतों को प्रभावित किया है। खासकर छोटे बच्चों को सुबह-सुबह सर्दी के कारण स्कूल जाने में कठिनाई हो रही थी। इस स्थिति को देखते हुए जिला शिक्षा अधिकारी (डीईओ) अजय मिश्रा ने स्कूलों के समय में बदलाव की घोषणा की।
बदलाव के तहत, जिले के दो पालियों में संचालित स्कूलों का समय सुबह 9 बजे से दोपहर 12:30 बजे तक और दोपहर 12:45 बजे से शाम 4:15 बजे तक निर्धारित किया गया है। वहीं, एक पाली में संचालित स्कूलों के लिए कक्षाएं सुबह 10:30 बजे से दोपहर 3:30 बजे तक आयोजित की जाएंगी। यह समय परिवर्तन बच्चों की सुरक्षा और उनकी भलाई को ध्यान में रखते हुए किया गया है।
आदेश का प्रभाव और पालन
डीईओ अजय मिश्रा ने यह भी बताया कि यह आदेश 27 नवंबर से लागू हो चुका है और 31 जनवरी 2025 तक जारी रहेगा। जिले के सभी विकासखंड शिक्षा अधिकारियों (बीईओ) और स्कूल प्राचार्यों को यह निर्देश दिया गया है कि वे इस आदेश का सख्ती से पालन सुनिश्चित करें। यह बदलाव शासकीय, अशासकीय और अनुदान प्राप्त सभी स्कूलों में लागू होगा, ताकि बच्चों को ठंड से राहत मिल सके और वे आराम से कक्षा में पढ़ाई कर सकें।
ठंड के कारण क्या बदलाव किए गए हैं?
इस समय में स्कूलों के समय में बदलाव की आवश्यकता इसलिए महसूस की गई क्योंकि दिसंबर के महीने में तापमान और भी गिरने की संभावना है। जिले में विशेष रूप से पहाड़ी इलाकों में ठंड का प्रभाव अधिक है, जो बच्चों के लिए खतरे की बात हो सकती है। समय में बदलाव से बच्चों को सुबह की सर्दी से बचाया जा सकेगा और वे अपनी कक्षाओं में बेहतर तरीके से ध्यान केंद्रित कर सकेंगे।
जिला शिक्षा अधिकारी ने बच्चों की भलाई और उनकी सुरक्षा को प्राथमिकता दी है और उन्होंने यह आदेश दिया है कि सभी स्कूलों में समय में बदलाव सख्ती से लागू किया जाए। इसके अलावा, सभी स्कूलों के प्राचार्यों से यह भी कहा गया है कि वे बच्चों के लिए सुरक्षित परिवहन और स्कूल परिसर में उचित सुविधाएं सुनिश्चित करें।
क्यों जरूरी है यह बदलाव?
यह बदलाव इसलिए भी महत्वपूर्ण है क्योंकि छत्तीसगढ़ में ठंड का असर तेजी से बढ़ता जा रहा है, और तापमान में गिरावट की संभावना को देखते हुए यह कदम उठाया गया है। खासकर छोटे बच्चों के लिए सुबह की ठंड में स्कूल जाना मुश्किल हो सकता है, जिससे उनकी सेहत पर नकारात्मक प्रभाव पड़ सकता है। शिक्षा विभाग का यह निर्णय बच्चों की सुरक्षा को प्राथमिकता देने के लिए लिया गया है, ताकि वे सर्दी के मौसम में बिना किसी परेशानी के अपनी पढ़ाई में ध्यान केंद्रित कर सकें।
प्रभावित होने वाले स्कूल
इस बदलाव का असर जिले के सभी प्रकार के स्कूलों पर पड़ेगा, चाहे वे सरकारी स्कूल हों, अशासकीय या अनुदान प्राप्त संस्थाएं हों। यह बदलाव शहरी और ग्रामीण दोनों क्षेत्रों में लागू होगा। इससे बच्चों को मौसम के अनुसार सही समय पर स्कूल भेजने की सुविधा मिलेगी, और ठंड के मौसम में उनके लिए अधिक सुरक्षा सुनिश्चित की जाएगी।
1. छत्तीसगढ़ के मनेंद्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर जिले में स्कूलों के समय में बदलाव क्यों किया गया है?
यह बदलाव कड़ाके की ठंड को देखते हुए किया गया है, ताकि बच्चों को ठंड से राहत मिले और वे सुरक्षित तरीके से अपनी कक्षाओं में जा सकें।
2. नए स्कूल टाइमिंग क्या हैं?
अब स्कूल दो पालियों में चलेंगे। पहली पाली 9 बजे से 12:30 बजे तक, दूसरी पाली 12:45 बजे से 4:15 बजे तक होगी। एक पाली स्कूलों के लिए समय 10:30 बजे से 3:30 बजे तक निर्धारित किया गया है।
3. यह आदेश कब तक लागू रहेगा?
यह आदेश 27 नवंबर 2023 से प्रभावी है और 31 जनवरी 2025 तक लागू रहेगा।
4. कौन से स्कूलों पर यह बदलाव लागू होगा?
यह बदलाव शासकीय, अशासकीय और अनुदान प्राप्त सभी स्कूलों में लागू होगा।
5. क्या बदलाव बच्चों की सुरक्षा के लिए किए गए हैं?
हां, यह बदलाव बच्चों की सुरक्षा और उनके भले के लिए किया गया है ताकि वे कड़ाके की ठंड में बिना किसी परेशानी के स्कूल जा सकें।
6. क्या यह बदलाव पूरे जिले में लागू होगा?
जी हां, यह बदलाव जिले के सभी विकासखंडों में लागू होगा।
7. इस बदलाव के बाद बच्चों के लिए परिवहन की क्या व्यवस्था की गई है?
सभी स्कूलों को यह सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हैं कि बच्चों के लिए सुरक्षित परिवहन की व्यवस्था की जाए।
8. क्या स्कूलों में समय में बदलाव सिर्फ बच्चों के लिए है?
हालांकि यह बदलाव बच्चों के लिए मुख्य रूप से है, लेकिन यह शिक्षकों और अन्य कर्मचारियों के कामकाजी घंटों पर भी असर डाल सकता है।